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Saturday, July 27, 2024

देश में सड़क दुर्घटनाओं में ज्यादा हो रही हैं मौतें, सांसदों ने जताई चिंता

नयी दिल्ली/ खुशबू पाण्डेय । केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने निर्माणाधीन राजमार्ग परियोजनाओं में सड़क सुरक्षा के समुचित उपाय सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं। सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय से संबद्ध सांसदों की एक सलाहकार समिति की हुई पहली बैठक में गडकरी ने राष्ट्रीय राजमार्गों के क्षेत्रीय अधिकारियों एवं परियोजना निदेशकों को सड़क सुरक्षा के समुचित उपाय लागू करने को कहा। सलाहकार समिति में शामिल सांसदों ने सड़क दुर्घटनाओं की बड़ी संख्या और उनमें होने वाली मौतों पर ङ्क्षचता जताते हुए कहा कि सड़क सुरक्षा पर खास ध्यान देने की जरूरत है। बैठक में यह बात उभरकर सामने आई कि इंजीनियङ्क्षरग समाधान, जागरूकता और नियमों के समुचित अनुपालन से ही सड़क हादसों पर लगाम लगाई जा सकती है।

नए हाईवे परियोजनाओं में सड़क सुरक्षा पर ध्यान देने का निर्देश
-दुघर्टनाओं को रोकने, मौत का आंकड़ा कम करने पर मंथन
-ड्राइवरों का प्रभावी प्रशिक्षण आज की जरूरत, खोले जाएं प्रशिक्षण केंद्र

मंत्रालय ने सोमवार को कहा कि गडकरी की अध्यक्षता में हुई इस बैठक में सड़कों को चौड़ा करने, राष्ट्रीय राजमार्गों पर आपात स्थिति के लिए एम्बुलेंस एवं ट्रॉमा सुविधा मुहैया कराने, ड्राइवरों को सतर्क करने के लिए जीपीएस प्रणाली लागू करने और दुर्घटना की आशंका वाले क्षेत्रों पर विशेष ध्यान देने पर जोर दिया गया। इस दौरान गडकरी ने कहा कि सड़क दुर्घटनाओं में कमी लाने के लिए चालकों (ड्राइवरों) का प्रभावी प्रशिक्षण आज की जरूरत है। उन्होंने सांसदों से अपने निर्वाचन क्षेत्रों में ड्राइङ्क्षवग प्रशिक्षण संस्थानों के गठन का प्रस्ताव भेजने का भी अनुरोध किया। इस बारे में मंत्रालय की तरफ से उठाए गए कदमों से समिति के सदस्यों को अवगत कराया गया।
बैठक में केंद्रीय मंत्री वी.के.सिंह, लोकसभा और राज्यसभा से समिति के सदस्य, सचिव (एमओआरटीएच), और एमओआरटीएच, एनएचएआई, एनएचआईडीसीएल, टीआरडब्ल्यू और पीआईबी के अधिकारी भी मौजूद थे।
बैठक के दौरान जिन महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा की गई, उनमें खराब और खतरनाक सड़कों का सुधार, सड़कों को चौड़ा करने की आवश्यकता, राष्ट्रीय राजमार्गों पर एम्बुलेंस सुविधाओं और ट्रॉमा केयर सुविधाओं का प्रावधान, ड्राइवरों को सतर्क करने के लिए जीपीएस सिस्टम, सड़क दुर्घटना पीडि़तों को मुआवजे का भुगतान, सड़कों का रखरखाव और मरम्मत, ड्राइविंग का प्रशिक्षण प्रदान करने की आवश्यकता (मौजूदा और इच्छुक ड्राइवरों दोनों के लिए) आदि शामिल हैं। गडकरी ने राष्ट्रीय राजमार्गों पर कोई दुर्घटना नहीं होने वाला गलियारा (जीरो फैटेलिटी कॉरिडोर) बनाने की पहल के लिए सेव लाइफ फाउंडेशन के प्रयासों की सराहना की। सेव लाइफ फाउंडेशन के सीईओ ने किफायती और प्रभावशाली तरीके से दुर्घटना स्थलों को ठीक करने के लिए रणनीति प्रस्तुत की और उनके संगठन द्वारा की गई एक केस स्टडी को दिखाया। गडकरी ने समिति के सभी सदस्यों से अपील कि वे अपने जिलों में जिला कलेक्टर, पुलिस विभाग, पीडब्ल्यूडी और अन्य राज्य एजेंसियों के साथ सड़क सुरक्षा समिति (एमपीआरएससी) के सांसदों की नियमित बैठकें करें। उन्होंने राष्ट्रीय राजमार्गों के क्षेत्रीय अधिकारियों और परियोजना निदेशकों को नियमित रूप से बैठकों में भाग लेने और चल रही परियोजनाओं में उचित सड़क सुरक्षा हस्तक्षेप प्रदान करने का निर्देश दिया। केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने जोर दिया कि ड्राइवरों का प्रभावी प्रशिक्षण राष्ट्र की आवश्यकता है।

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